मऊगंज:- मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश की सीमा पर हनुमना आरटीओ बैरियर जो अवैध वसूली का अड्डा बन चुका है आरटीओ विभाग के कर्मचारी एवं उनके द्वारा पोषित निजी कटरों तथा गुंडो के द्वारा करोड़ों की अवैध वसूली ट्रक चालकों से की जाती है। सत्ता एवं विपक्ष के नेताओं की मिली भगत से वर्षों से यह गोरख धंधा हनुमना आरटीओ बेरियल में संचालित है। सूत्रों की माने तो अवैध वसूली अधिकारियों एवं नेताओं की हिस्सेदारी से चल रहा है ।ट्रक चालकों का कहना है कि हमारी कहीं कोई सुनवाई नहीं होती। यदि हम लोग विरोध करते हैं तो हमें आरटीओ विभाग के कर्मचारियों के द्वारा अपने गुंडो से पिटवाया जाता है और थानों में रिपोर्ट तक दर्ज नहीं की जाती। मऊगंज जिला बनने के बाद ट्रक चालकों एवं आम जनमानस में यह बात उभर कर आ रही है कि शायद अब अवैध वसूली पर रोक लगे क्योंकि रीवा बड़ा जिला होने के कारण अधिकारियों की नजर नहीं पहुंच पा रही थी लेकिन अब मऊगंज जिला बनने के बाद निश्चित रूप से अधिकारियों की नजर अवैध वसूली पर रहेगा। ट्रक चालकों और सूत्रों का माने तो आज जो बेरियल में वसूली हो रही है वह ट्रैकों के टायरो के हिसाब से की जाती है।जो इस प्रकार है*—–
10 टयरा ट्रक चालकों से 3000 रूपए प्रति माह इंट्री एवं 500रुपये प्रति चक्कर
12 टयरा ट्रक चालकों से 5000 रुपए प्रति माह इंट्री एवं 700 रुपए प्रति चक्कर
14 टयरा ट्रक चालकों से 7000 रुपए प्रति माह एंट्री एवं 800 रुपए प्रति चक्कर
16 टयरा ट्रक चालकों से10000 रूपए प्रति माह एंट्री एवं 1300 रुपए प्रति चक्कर
18 एवं 22 टयरा ट्रक चालकों से 15000 रुपए प्रति माह एंट्री एवं 1500 रुपए प्रति चक्कर
कृषि कार्य में प्रयोग होने वाले हार्वेस्टर से 7000 से 8000 रुपए की अवैध वसूली की जाती है
देखना अब यह होगा कि क्या इतनी बड़ी करोड़ की अवैध वसूली पर मऊगंज जिला प्रशासन की नजर पड़ेगी या उसमें हिस्सेदार बन पहले से हो रही अवैध वसूली को इसी तरह चलने देगे